एक महान व्यक्तित्व है संजीव सहगल जिन्हें गरीब बच्चों, पेड़ पौधों, बेजुबान जानवरों तक की चिंता है


स्वतंत्र सिंह भुल्लर, नई दिल्ली

कहा जाता है कि हम अपना सुधार करेंगे तो समाज का सुधार होता ही जाएगा, जब समाज का सुधार होगा तो एक बेहतर राष्ट्र का निर्माण स्वत: होगा। इसलिए सभी देशवासियों का यह परम कर्तव्य है कि हम अपने में कुछ सुधार लाएं समाज के लिए, राष्ट्र के लिए जितना बेहतर संभव हो सके करें। इस तरह की सोच रखने वाले बहुत कम लोग होते हैं । लेकिन एडीशनल एडवोकेट जनरल, स्टैंडिंग काउंसिल गवर्नमेंट ऑफ इंडिया सुप्रीम कोर्ट श्री संजीव सहगल वैसे ही लोगों में से हैं जो हमेशा दूसरों के कल्याण के लिए कुछ ना कुछ सोचते और करते रहते हैं। इसी तरह के स्वनाम धन्य व्यक्ति कमल कांत जी वरुण गांधी के निजी सचिव है जो हमेशा व्यक्ति एवं राष्ट्र के कल्याण के लिए सोचते और करते रहते हैं । जब इन लोगों से शिरोमणी अकाली दल दिल्ली के पीआरओ भूपेंद्र सिंह की मुलाकात हुई तो इनके विचार एवं कार्यों को सुनकर वह इतने प्रभावित हुए की उन्होंने कहा कि अगर ऐसी ही सोच हर भारतवासी की हो जाए तो फिर हमारा देश स्वर्ग एवं सोने की चिड़िया बन जाएगा। संजीव सहगल गरीब बच्चों को कैसे शिक्षित किया जाए, गरीब लोगों को रोजी रोजगार कैसे मिले, बेजुबान जानवरों की रक्षा कैसे हो, तथा उन्हें विलुप्त होने से कैसे बचाया जाए, पेड़ पौधे एवं हरियाली के लिए अधिक से अधिक पेड़ पौधे कैसे लगाए जाए और पेड़ों की कटाई पर कैसे रोक लगाई जाए। तमाम तरह की जरूरी चिंतन मंथन एवं कार्यों में यह हमेशा लगे रहते हैं जो इनकी खासियत है और इसे एक दुर्लभ स्वभाव एवं कार्य कहा जा सकता है । मुलाकात के दौरान हरजिंदर पांडे भी वहां मौजूद थे जो बच्चों को आईएएस की शिक्षा देते हैं। आज हमारा पर्यावरण बिल्कुल बदल चुका है। इसका मूल कारण यह है कि मानव ने प्रकृति को डिस्टर्ब कर दिया है हमें अधिक से अधिक पेड़ पौधे लगाने पड़ेंगे तथा पर्यावरण की सुरक्षा के लिए विचार करना पड़ेगा। श्री सहगल गरीब बच्चों, यतीम लोगों, पेड़ पौधों, बेजुबान जानवरों, पर्यावरण, पृथ्वी की रक्षा आदि विषयों पर हमेशा चिंतन मंथन ही नहीं सकारात्मक कार्य करते रहते हैं । जो एक गंभीर एवं बेहतर प्रयास कहा जा सकता है । ऐसे लोगों के बदौलत ही देश में काफी कुछ हो रहा है अगर उनसे अन्य देशवासी प्रेरणा लेकर खुद यथासंभव इस दिशा में थोड़ा बहुत अपना प्रयास जारी रखें तो निश्चित रूप से देश एवं मानव का कल्याण होगा।