डी ए डी न्यूज़ पानीपत
देश भर में हो रहे विभिन्न नागरिक समूहों’ एवं गैर सरकारी संगठनों के 200 से अधिक विदेशी प्रतिनिधियों की भागीदारी वाले G 20 के अंतर्गत C 20 के माध्यम से देश - विदेश में कई कार्यक्रम हो रहें है। इसी कड़ी में G 20 के अंतर्गत आने वाले C20 कार्य समूह SEWA –- Sense of Service, Philanthropy and Volunteerism (सेवा - परोपकार और स्वयंसेवा की भावना) का कल 5 मार्च को पानीपत में संत ईश्वर फाउंडेशन द्वारा संचालित माता चंद्रकांता स्मृति सेवा न्यास में स्थित ज्ञानदीप सेवाधाम में भव्य उद्घाटन किया जा रहा है।
इस उद्घाटन कार्यक्रम में मुख्य अथिति के रूप में मा. विनय सहस्रबुद्धे (डायरेक्टर आई.सी.सी.आर व पूर्व संसद सदस्य और संरक्षक C20) व साध्वी भगवती सरस्वती ( परमार्थ निकेतन, डिवाइन शक्ति फाउंडेशन) इस कार्यक्रम में होगी। वही विशिष्ट अतिथि के रूप में मा. पराग अभ्यंकर जी (अखिल भारतीय सेवा प्रमुख आरएसएस) शामिल होगे। मा. विजय के नांबियार (शेरपा C20), मा. कपिल खन्ना जी (अध्यक्ष, विश्व हिंदू परिषद, दिल्ली प्रांत व अध्यक्ष, संत ईश्वर फाउंडेशन) इस कार्यक्रम की अध्यक्षता करेंगे। रेणु पाठक जी, (महामंत्री राष्ट्रीय सेवा भारती) मा. सुधीर जी (अखिल भारतीय संगठन मंत्री, राष्ट्रीय सेवा भारती) इनके अलावा मा. श्याम परांडे जी सचिव (सेवा इंटरनेशनल व इंटरनेशनल कॉर्डिनेटर, सेवा वर्किंग ग्रुप, C20) मा. संतोष गुप्ता जी (आई.एस.आर.एन व इंडिया कॉर्डिनेटर, सेवा वर्किंग ग्रुप C20) मा. देविका मलिक जी (पैरा-एथलीट, सह-संस्थापक, व्हीलिंग हैप्पीनेस फाउंडेशन) आदि गणमान्य अथिति कार्यक्रम में शामिल रहेंगे।
इस कार्यक्रम की जानकारी देते हुए 'संत ईश्वर फाउंडेशन' की राष्ट्रीय सचिव एवं C20 की सेवा संयोजक सुश्री वृंदा खन्ना ने बताया कि "उनका उद्देश्य इस कार्यक्रम के माध्यम से सेवा की भावना का देश में विस्तार करना है। इसके अलावा विश्व भर में सेवा शब्द को प्रचलित करना है। इस कार्यक्रम को पानीपत की छोटी बस्ती के प्रकल्प में इसलिए किया जा रहा हैं क्योंकि सेवा शहरों में बैठकर नहीं की जा सकती है। सेवा के कार्यों को करने के लिए हमें जमीनी स्तर पर जाना होता है। जहां सेवा कार्यों किए जा रहें हो ऐसे स्थानों पर अगर सेवा की चर्चा की जाती है तो उसका प्रभाव बहुत अधिक होता है। इसलिए इस अहम कार्यक्रम को पानीपत में आयोजित किया जा रहा है"।
इसके अलावा उन्होंने आगे बताया कि संत ईश्वर फाऊंडेशन के माध्यम से पिछले 20 वर्षों से पानीपत में कई सेवा प्रकल्पों और माता चंद्रकांता विध्यालय का संचालन किया जा रहे हैं। जिसके माध्यम से प्रतिवर्ष 250 जरूरतमंद बच्चों को निशुल्क शिक्षा उपलब्द करवाई जा रही हैं। इस प्रयास के माध्यम से इस विध्यालय से पढ़कर कई बच्चों ने समाज में कई बड़ी सफलता हासिल की है।
उल्लेखनीय है C20/ G20 के आधिकारिक समूहों में से एक है। यह G20 में दुनिया के नेताओं के साथ लोगों की आकांक्षाओं को आवाज देने के लिए दुनिया भर में नागरिक समाज संगठनों (CSOs) के लिए एक मंच प्रदान करता है। C20 का उद्देश्य नागरिक समाज, संगठनों की रक्षा करके उनके सामाजिक और आर्थिक विकास को बढ़ावा देना है। जिसकी आध्यात्मिक नेता माता अमृतानंदमयी सी 20 भारत की अध्यक्ष हैं तथा रामभाऊ म्हालगी प्रबोधिनी सचिवालय एवं कार्यक्रम का दायित्व संभाल रही है।
इस कार्यक्रम में इस अहम विषय SEWA –- Sense of Service, Philanthropy and Volunteerism (सेवा - परोपकार और स्वयंसेवा की भावना) को इसलिए शामिल किया गया है कि भारतीय परंपरा को विशेष रूप से दान और सेवा के लिए जाना जाता है। विकास के लिए सेवा या निःस्वार्थ सेवा विश्व भर के सामाजिक संगठनों की पहल के माध्यम से समाज को आकार देने हेतु एक सकारात्मक पहल की शुरुवात हुई है, विशेष रूप से इस कार्य समूह का उद्देश्य नागरिक समाज संगठनों को विकास के एक सेवा-प्रारूप की अवधारणा के लिए कार्य करना है। विकास के सेवा-मॉडल के तहत, एक मजबूत भविष्य की योजना विकसित की जा सकती है जिसमें वांछित परिणाम प्राप्त करने के लिए
निस्वार्थ सेवा, स्वैच्छिकता और लोकोपकार के कार्य तीन प्रमुख घटक होंगे। सेवा वर्किंग ग्रुप का उद्देश्य एक नई दुनिया की स्थापना के लिए इन घटकों को एक साथ लाना है, जिसमें वसुधैव कुटुंबकम की मूल भावना समहित है।
ज्ञानदीप सेवाधाम के बारे में:
"माता चंद्रकांता परिसर में स्थित ज्ञानदीप सेवाधाम- संस्कार,शिक्षा और सेवा का महत्वपूर्ण केन्द्र है जहां से अभी तक हज़ारों बच्चें पढ़ चुके हैं । वर्तमान में इस विद्यालय में 245 विद्यार्थी शिक्षा ग्रहण कर रहे हैं। 1100 वर्ग गज क्षेत्र में निर्मित माता चन्द्रकांता परिसर में ज्ञानदीप सेवाधाम में पांचवीं कक्षा तक पढाया जाता है, विद्यालय के प्रबन्धन और संचालन की व्यवस्था का सम्पूर्ण व्यय माता चंद्रकांता सेवा न्यास द्वारा किया जाता है। जिन गरीब परिवार के बच्चों का बचपन कूड़ा बीनने, होटलों में काम करने में खत्म हो रहा था अब इस प्रकल्प के खुलने से उन्हें शिक्षा के माध्यम से नई दिशा मिल रही है। इस तरह ज्ञानदीप सेवाधाम ज्ञान के उजाले को फैलाने के साथ आत्मनिर्भर बनाने के अभियान में बड़ी भूमिका निभा रहा है।